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Joint Home Loan: जॉइंट होम लोन लेने पर आसानी से बचा सकते हैं सात लाख रुपए, जानें क्या है पूरा प्रॉसेस

Joint Home Loan: अगर आप भी अपने घर के लिए होम लोन लेने का सोच रहे हैं तो आपको Joint Home Loan लेना चाहिए। जॉइंट होम लोन पत्‍नी या परिवार के किसी भी सदस्‍य के साथ लिया जा सकता है।

Joint Home Loan: क्या है ज्वाइंट होम लोन? टैक्स बेनिफिट के लिए ये हैं शर्तें

क्या आपका भी घर बनवाने का सपना है? अगर हां, तो इस सपने को साकार करने के लिए होम लोन काफी मददगार साबित होता है। अगर आप भी अपने घर के लिए होम लोन लेने का सोच रहे हैं तो आपको Joint Home Loan लेना चाहिए। जॉइंट होम लोन पत्‍नी या परिवार के किसी भी सदस्‍य के साथ लिया जा सकता है। इसका पहला फायदा तो ये है कि आपको ये आसानी से और सस्‍ती दर पर मिल सकता है। दूसरा बड़ा फायदा ये है आप जॉइंट लोन पर अच्‍छा-खासा टैक्‍स बेनिफिट ले सकते हैं। Joint Home Loan अगर जॉइंट होम लोन पति-पत्‍नी के साथ मिलकर लें तो 7 लाख तक का इनकम टैक्‍स बचा सकते हैं। आज हम आपको अपने इस आर्टिकल में बताएंगे कि आखिर ज्वाइंट होम लोन क्यों फायदेमंद साबित होता है और इसके जरिये आप कितना टैक्स बचा सकते हैं।

क्या है ज्वाइंट होम लोन?

इसके नाम से ही इसका मतलब स्पष्ट हो रहा है यह एक ऐसा लोन है जो किसी अन्य व्यक्ति, आमतौर पर पति या पत्नी या माता-पिता के साथ संयुक्त रूप से लिया जाता है। आपको बता दें कि जॉइंट होम लोन के मामले में दोनों उधारकर्ता इनकम टैक्स एक्ट के सेक्शन 80C और सेक्शन 24(b) के तहत इनकम टैक्स बेनिफिट का दावा कर सकते हैं। सेक्शन 80C के तहत दोनों उधारकर्ता प्रिंसिपल अमाउंट पर 1.5 लाख रुपए तक की टैक्स कटौती के लिए क्लेम कर सकते हैं।

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ऐसे करें सात लाख की बचत Joint Home Loan

वहीं सेक्शन 24(b) के तहत दोनों 2 लाख रुपए तक के होम लोन ब्याज पर कटौती के लिए क्लेम कर सकते हैं। इस तरह एक एप्लीकेंट लोन के प्रिंसिपल अमाउंट और ब्‍याज पर अधिकतम 3.50 लाख रुपए तक की कटौती कर सकता है और जॉइंट होम लोन के मामले में दोनों मिलकर अधिकतम 3.50-3.50 लाख रुपए यानी कुल 7 लाख रुपए तक की बचत कर सकते हैं।

टैक्स बेनिफिट के लिए ये हैं शर्तें Joint Home Loan

होम लोन पर 7 लाख रुपये की छूट तब ही मिलेगी जब दोनों उधारकर्ता प्रॉपर्टी के को-ऑनर हों। इन दोनों का नाम लोन के डॉक्यूमेंट्स में को-बॉरोअर के तौर पर रजिस्टर्ड होना जरूरी है। अगर आप प्रॉपर्टी के पेपर्स में मालिक हैं, लेकिन होम लोन के पेपर में आपका नाम को-बॉरोअर में नहीं है तो आपको टैक्स बेनिफिट नहीं मिलेगा। को-बॉरोअर का मतलब है कि लोन रिपेमेंट की जिम्मेदारी लेने वाला। इसके अलावा लोन की EMI का भुगतान दोनों के द्वारा किया जा रहा हो।

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जॉइंट लोन के हैं और कई फायदे Joint Home Loan

  • कई बार लोगों को क्रेडिट स्‍कोर ठीक नहीं होने, कम इनकम और या अन्‍य तर‍ह के कर्ज और इनकम के रेश्‍यो में गड़बड़ होने की वजह से लोन लेने में दिक्‍कत आती है। ऐसे में जॉइंट होम लोन मददगार होता है। इसमें दूसरे व्यक्ति को आवेदक के तौर पर अपने साथ जोड़कर लोन लेने के लिए योग्यता में इजाफा हो जाता है। अगर जॉइंट लोन में जुड़े दूसरे व्‍यक्ति की भुगतान करने की क्षमता अच्‍छी है तो लोन आसानी से मिल जाता है।
  • सिंगल लोन एप्‍लीकेंट को उसकी आय के हिसाब से लोन दिया जाता है। लेकिन जॉइंट लोन में दोनों की कुल आय को देखा जाता है। ऐसे में लोन अमाउंट की लिमिट बढ़ जाती है। Joint Home Loan
  • अगर आप जॉइंट होम लोन किसी महिला को-एप्‍लीकेंट के साथ मिलकर लेते हैं तो आपको लोन थोड़े कम ब्‍याज दर पर मिल जाता है। बहुत से कर्जदाता महिला को-एप्लीकेंट के लिए होम लोन की अलग ब्याज दर देते हैं। ये दर आम तौर पर रेट से लगभग 0.05 फीसदी (5 बेसिस प्वॉइंट्स) कम होती है।

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vrinda

मैं वृंदा श्रीवास्तव One World News में हिंदी कंटेंट राइटर के पद पर कार्य कर रही हूं। इससे पहले दैनिक भास्कर, दैनिक जागरण और नवभारत टाइम्स न्यूज पेपर में काम कर चुकी हूं। मुझसे vrindaoneworldnews@gmail.com पर संपर्क किया जा सकता है।
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