Paris Olympics 2024: खेलों के महाकुंभ ओलंपिक का आज से आगाज, टोक्यो ओलंपिक में भारत ने जीते इतने पदक, अब आसान नहीं होगा मुकाबला
Paris Olympics 2024: खेलों के महाकुंभ पेरिस ओलंपिक 2024 का आज आगाज होगा। भारत 117 एथलीटों के दल के साथ पेरिस ओलंपिक में प्रवेश कर रहा है, खेल प्रशंसकों को उम्मीद है कि देश अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करेगा।
Paris Olympics 2024: खेलों के महाकुंभ ओलंपिक में क्या है भारत का लक्ष्य
खेलों के महाकुंभ पेरिस ओलंपिक 2024 का आज आगाज होगा। भारत 117 एथलीटों के दल के साथ पेरिस ओलंपिक में प्रवेश कर रहा है, खेल प्रशंसकों को उम्मीद है कि देश अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करेगा। कुछ एथलीट ओलंपिक में पहली बार खेलेंगे, जबकि कुछ दुनिया भर में सबसे बड़े खेल के महाकुंभ में आखिरी बार खेलेंगे। भारत ने टोक्यो में 7 पदक जीते, जिसमें नीरज चोपड़ा का 1 स्वर्ण पदक भी शामिल है। Paris Olympics 2024 इस बार पदकों की संख्या दोगुनी करने की चाहत एथलीटों को अच्छा प्रदर्शन करने के लिए प्रेरित करेगी। लेकिन दोहरे अंकों में प्रवेश करना एक कठिन काम होगा क्योंकि केवल नीरज चोपड़ा ही पदक के लिए आश्वस्त दिख रहे हैं।
भारत ने अब तक ओलंपिक में कुल 35 पदक जीते हैं। इनमें 10 स्वर्ण, 9 रजत और 16 कांस्य पदक शामिल हैं। 2020 टोक्यो ओलंपिक भारत का अब तक का सबसे ओलंपिक रहा था, जिसमें इस राष्ट्र ने एक स्वर्ण, दो रजत और चार कांस्य पदक समेत कुल सात पदक हासिल किए थे। Paris Olympics 2024 इस बार भारतीय एथलीट अपने देश को दोहरे अंकों में पहुंचाने की कोशिश करेंगे। पेरिस में भारत के लिए पदक के सबसे प्रबल दावेदार नीरज चोपड़ा और रंकीरेड्डी सात्विकसाईराज और चिराग शेट्टी की बैडमिंटन जोड़ी होगी।
दल पर एक नजर Paris Olympics 2024
भारत के दल में आधे से अधिक खिलाड़ी तीन खेलों से हैं – एथलेटिक्स (29), शूटिंग (21) और हॉकी (19). 69 एथलीटों में से 40 नए खिलाड़ी हैं। भारत का अभियान मुख्य रूप से एथलीटों द्वारा संचालित होगा क्योंकि वे भारतीय दल का एक बड़ा हिस्सा हैं। भारतीय दल में अनुभवी खिलाड़ी – दो बार की ओलंपिक पदक विजेता पीवी सिंधु, अनुभवी टेनिस स्टार रोहन बोपन्ना, टेबल टेनिस खिलाड़ी अचंता शरत कमल और हॉकी गोलकीपर पीआर श्रीजेश से अपने खेल में सुधार की उम्मीद की जाएगी।
टोक्यो ओलंपिक में भारत ने जीते इतने पदक Paris Olympics 2024
टोक्यो ओलंपिक, 2020 में भारत ने कुल सात पदक जीते थे। ओलंपिक के इतिहास में यह भारत का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन था। नीरज चोपड़ा ने 13 साल बाद ओलंपिक में भारत के लिए स्वर्ण जीता था। इससे पहले 2008 में अभिनव बिंद्रा ने शूटिंग में स्वर्ण पदक जीता था। अभिनव के बाद नीरज दूसरे ऐसे खिलाड़ी हैं, जिन्होंने व्यक्तिगत स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीता है। उनसे पेरिस में भी ऐसे ही प्रदर्शन की उम्मीद है। वहीं, टोक्यो में भारत ने दो रजत और चार कांस्य पदक भी जीते थे।
आसान नहीं होगा मुकाबला Paris Olympics 2024
खिलाड़ियों को चाहे विदेश में अभ्यास करवाना हो या उन्हें सर्वश्रेष्ठ सुविधा उपलब्ध करानी हो, किसी भी तरह से कोई कसर नहीं छोड़ी गई है और अब परिणाम देना खिलाड़ियों का काम है। लेकिन इस हकीकत से भी मुंह नहीं मोड़ा जा सकता है कि टोक्यो ओलंपिक के सात पदकों की संख्या की बराबरी करना भी आसान नहीं होगा। भाला फेंक में मौजूदा ओलंपिक चैंपियन नीरज चोपड़ा को छोड़कर कोई भी अन्य खिलाड़ी पदक का प्रबल दावेदार नहीं है। अन्य खेलों में भी कमोबेश यही स्थिति है और इस तरह से देखा जाए तो भारत को आगे बढ़ाने की जिम्मेदारी पदार्पण करने वाले खिलाड़ियों पर होगी।
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अनुभवियों पर होगी जिम्मेदारी Paris Olympics 2024
भारतीय दल में हालांकि कुछ अनुभवी खिलाड़ी भी शामिल हैं जिन्हें अपना खेल का स्तर बढ़ाना होगा। इन खिलाड़ियों में बैडमिंटन खिलाड़ी पीवी सिंधू, टेनिस खिलाड़ी रोहन बोपन्ना, टेबल टेनिस के दिग्गज शरत कमल और हॉकी गोलकीपर पीआर श्रीजेश भी शामिल हैं जो निश्चित तौर पर अपना अंतिम ओलंपिक खेल रहे हैं। हॉकी टीम की ओलंपिक खेलों से पहले फॉर्म बहुत अच्छी नहीं रही जबकि मुक्केबाजों और पहलवानों को प्रतियोगिताओं में प्रतिस्पर्धा करने का कम मौका मिला। निशानेबाजों ने भी ओलंपिक से पहले मिश्रित परिणाम हासिल किए।
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