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Navratri 2nd Day: ऐसे करे शारदीय नवरात्रि के दूसरे दिन मां ब्रह्माचारिणी की पूजा, पढ़ें कथा-आरती और मंत्र

हिंदू पंचांग के अनुसार दिनांक 16 अक्टूबर को शारदीय नवरात्रि का दूसरा दिन है। इस दिन मां दुर्गा के द्वितीय स्वरूप मां ब्रह्माचारिणी की पूजा-अर्चना की जाती है। मां ब्रह्माचारिणी को तप का देवी कहा जाता है।

Navratri 2nd Day: जानिए कैसा है मां ब्रह्माचारिणी का स्वरूप?


Navratri 2nd Day: शारदीय नवरात्रि के दूसरे दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा की जाती है। आज यानी 16 अक्तूबर को मां ब्रह्मचारिणी की पूजा की जाएगी। ये मां दुर्गा का दूसरा स्वरूप और नौ शक्तियों में से दूसरी शक्ति हैं। मां दुर्गा का यह स्वरूप ज्योर्तिमय है। ब्रह्मा की इच्छाशक्ति और तपस्विनी का आचरण करने वाली मां ब्रह्मचारिणी त्याग की प्रतिमूर्ति हैं। इनकी उपासना से मनुष्य में तप, त्याग, वैराग्य, सदाचार और संयम की वृद्धि होती है। साथ ही कुंडली में मंगल ग्रह से जुड़े सारे दोषों से मुक्ति मिल जाती है। मां ब्रह्मचारिणी की पूजा करने से सभी कार्य पूरे होते हैं, रुकावटें दूर होती हैं और विजय की प्राप्ति होती है। इसके अलावा जीवन से हर तरह की परेशानियां भी खत्म होती हैं।

कैसा है मां ब्रह्माचारिणी का स्वरूप?

देवी ब्रह्मचारिणी साक्षात ब्रह्म का स्वरूप है अर्थात तपस्या का मूर्तिमान रूप है। ब्रह्म का मतलब तपस्या होता है, तो वहीं चारिणी का मतलब आचरण करने वाली। इस तरह ब्रह्माचारिणी का अर्थ है- तप का आचरण करने वाली देवी। मां ब्रह्माचारिणी के दाहिने हाथ में मंत्र जपने की माला और बाएं में कमंडल है।

मां ब्रह्मचारिणी की पूजा विधि

1. शारदीय नवरात्रि के दूसरे दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा करने के लिए सबसे पहले ब्रह्ममुहूर्त पर उठकर स्नान कर लें।

2. पूजा के लिए सबसे पहले आसन बिछाएं इसके बाद आसन पर बैठकर मां की पूजा करें।

3. माता को फूल, अक्षत, रोली, चंदन आदि चढ़ाएं।

4. ब्रह्मचारिणी मां को भोगस्वरूप पंचामृत चढ़ाएं और मिठाई का भोग लगाएं।

5. साथ ही माता को पान, सुपारी, लौंग अर्पित करें।

6. इसके उपरांत देवी ब्रह्मचारिणी मां के मंत्रों का जाप करें और फिर मां की आरती करें।

मां ब्रह्मचारिणी को भोग स्वरूप चढ़ाएं पंचमृत-

सामग्री-

1. दूध – 1/2 कप

2. दही (दही) – 1/4 कप

3. शहद – 2 बड़े चम्मच

4. घी (स्पष्ट मक्खन) – 1 बड़ा चम्मच

5. चीनी – 2 बड़े चम्मच

6. केसर के धागे – 8-10

7. कटे हुए मेवे (काजू, बादाम, किशमिश) – 2 बड़े चम्मच

मां ब्रह्मचारिणी का मंत्र

1. ह्रीं श्री अम्बिकायै नम:।

2. या देवी सर्वभूतेषु मां ब्रह्मचारिणी रूपेण संस्थिता। नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः।।

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माँ ब्रह्मचारिणी स्तोत्र का करें जाप

1. तपश्चारिणी त्वंहि तापत्रय निवारणीम्।

2. ब्रह्मरूपधरा ब्रह्मचारिणी प्रणमाम्यहम्॥

3. शंकरप्रिया त्वंहि भुक्ति-मुक्ति दायिनी।

4. शान्तिदा ज्ञानदा ब्रह्मचारिणी प्रणमाम्यहम्॥

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