विदेश

Indian students deported from Canada: जानें क्या है पुरा मामला? क्यों 700 भारतीय छात्रों को वापस डेपोर्ट कर रही ट्रूडो सरकार?

700 भारतीय छात्रों के ऑफर लेटर नकली पाए गये हैं। इस मामले का खुलासा इसी साल मार्च महीने में उस वक्त हुआ, जब इन छात्रों ने कनाडा में स्थाई निवास के लिए आवेदन किया था।

Indian students deported from Canada: कनाडा में मुसीबत में भारतीय छात्र, ट्रूडो सरकार के खिलाफ दिया धरना

Indian students deported from Canada: कनाडा में पढ़ाई करने गये 700 से ज्यादा भारतीय छात्र मुसीबत में फंस गये हैं और उनके ऊपर डेपोर्ट किए जाने का खतरा मंडरा रहा है। अब भारतीय छात्रों ने कनाडा में प्रदर्शन शुरू कर दिया है। कनाडा की जस्टिन ट्रूडो सरकार ने भारतीय छात्रों को डेपोर्ट कर वापस भारत भेजने की घोषणा की है। जिसके बाद करीब 700 भारतीय छात्र कनाडा सीमा सेवा एजेंसी के मुख्य कार्यालय के बाहर, मिसिसॉगा एयरपोर्ट के पास 29 मई से धरना दिया था।

छात्रों ने फर्जी दस्तावेजों के आधार पर एडमिशन लिया

आरोप है, कि इन छात्रों ने फर्जी दस्तावेजों के आधार पर एडमिशन लिया है। पंजाब की रहने वाली छात्र लवप्रीत सिंह को सबसे पहले डेपोर्ट किया गया था और उसके बाद जल्द ही एक दर्जन छात्रों को और वापस भारत डेपोर्ट किए जाने की संभावना है।

700 छात्रों के ऑफर लेटर नकली

700 भारतीय छात्रों के ऑफर लेटर नकली पाए गये हैं। इस मामले का खुलासा इसी साल मार्च महीने में उस वक्त हुआ, जब इन छात्रों ने कनाडा में स्थाई निवास के लिए आवेदन किया था। जिसके बाद छात्रों के दस्तावेजों की जांच शुरू हुई और फिर पता चला, कि उनके इमिग्रेशन लेटर और ऑफर लेटर नकली हैं। मामले का खुलासा होते ही कनाडा सरकार ने इन छात्रों को वापस डेपोर्ट करने का फैसला किया। जिसका प्रोसेस अब शुरू हो गया है। इस बीच, पंजाब के एनआरआई मामलों के मंत्री कुलदीप सिंह धालीवाल ने एस जयशंकर को पत्र लिखकर इस मामले में मदद मांगी है। उन्होंने कहा है, कि वो भारतीय विदेश मंत्री से मुलाकात कर पूरे मामले को भारत सरकार के ध्यान में लाना चाहते हैं। ताकि 700 निर्दोष छात्रों के भविष्य पर खतरा ना मडंराए, क्योंकि उन्हें जालसाजों ने धोखा दिया है।

Read more: Pakistan News: पाकिस्तान सरकार ने इन नेताओं पर लगाई विदेश जानें पर रोक, जानें क्या है वजह

कनाडा में मुसीबत में भारतीय छात्र

पिछले कुछ सालों में कनाडा में पढ़ने वाले भारतीय छात्रों की संख्या काफी बढ़ी है। जिनमें ज्यादातर पंजाब के हैं। हर साल करीब ढाई लाख भारतीय छात्र पंजाब और दूसरे देशों में पढ़ाई करने जाते हैं। जिनमें से एक बड़ी संख्या पंजाबी छात्रों की होती है। लवप्रीत सिंह सितंबर 2017 में लैंबटन कॉलेज में मैनेजमेंट करने के लिए मिसिसॉगा गई थी। लवप्रीत ने अपने ट्वीट में लिखा, कि “कई ट्रेवल एजेंट भारतीय छात्रों को ठग रहे हैं उनके जाली दस्तावेज बना रहे हैं”। लवप्रीत ने अपना मामला बताते हुए लिखा, कि “एजेंट ने उसे उस कॉलेज से संपर्क करने से मना किया था, जहां उसे एडमिशन मिला था और फिर बाद में उसे दूसरे कॉलेज में शिफ्ट करने के लिए कह दिया”।

लवप्रीत सिंह ने कहा, कि ये काफी संदेहास्पद था और बाद में पता चला, कि उसके दस्तावेज कॉलेज के सिस्टम में नहीं दिखाई दे रहे थे और उसके इमिग्रेशन लेटर फर्जी थे। लवप्रीत ने बताया, कि कई ट्रेवल एजेंट हैं, जो इसी तरह से छात्रों को ठगी का शिकार बना रहे हैं।

पक्ष-विपक्ष के समर्थन से राहत

मार्च 2023 में कनाडा की बॉर्डर सिक्योरिटी एजेंसी ने 700 भारतीय स्टूडेंट्स को डिपोर्ट करने का पत्र जारी किया था। पता चला कि धोखाधड़ी जालंधर के ट्रैवल एजेंट ब्रजेश मिश्रा ने की। उसका लाइसेंस रद्द किया जा चुका है। अब कनाडा के प्रधानमंत्री ट्रूडो और विपक्ष के नेता पियरे पॉलिवर द्वारा स्टूडेंट्स के पक्ष में बयान देने से उम्मीद जगी है कि छात्रों के साथ इंसाफ होगा।

Read more: SCO Meet: पाकिस्तान के विदेश मंत्री से मुलाकात करेंगे एस जयशंकर, होंगी गंभीर मुद्दों पर चर्चा

जालसाज एजेंट पर कार्रवाई होगी

पंजाब के एनआरआई मामलों के मंत्री कुलदीप सिंह धालीवाल ने कनाडा में प्रदर्शन कर रहे स्टूडेंट्स से फोन पर बात की। बोले, आरोपी एजेंट पर सरकार कार्रवाई करेगी। एजी से इमिग्रेशन केस संबंधी वकील तलाशकर स्टूडेंट्स की ठोस पैरवी के निर्देश दिए गए हैं।

अगर आपके पास भी हैं कुछ नई स्टोरीज या विचार, तो आप हमें इस ई-मेल पर भेज सकते हैं info@oneworldnews.com

Back to top button