धार्मिक

Sawan Shivratri 2025: सावन मास की खास शाम, शिवरात्रि 2025 का महत्व और व्रत

Sawan Shivratri 2025, सावन शिवरात्रि, भगवान शिव की आराधना का एक विशेष दिन होता है, जिसे हर साल सावन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है।

Sawan Shivratri 2025 : सावन शिवरात्रि 2025, जानिए कैसे करें इस पावन दिन की पूजा

Sawan Shivratri 2025, सावन शिवरात्रि, भगवान शिव की आराधना का एक विशेष दिन होता है, जिसे हर साल सावन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है। यह दिन महाशिवरात्रि के समान ही पवित्र माना जाता है, और खासकर उन भक्तों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण होता है जो भगवान शिव के प्रति विशेष आस्था रखते हैं।

सावन शिवरात्रि 2025 कब है?

सावन शिवरात्रि 2025 में 24 जुलाई, गुरुवार को मनाई जाएगी। चतुर्दशी तिथि 24 जुलाई को दिन में शुरू होगी और रात्रि में समाप्त होगी। इस दिन रात्रि के समय शिव पूजन, व्रत और जागरण करने का विशेष महत्व होता है।

सावन शिवरात्रि का महत्व

सावन का महीना भगवान शिव को अत्यंत प्रिय माना जाता है। मान्यता है कि इसी मास में देवी पार्वती ने कठोर तप करके शिव जी को प्राप्त किया था। वहीं, शिव भक्तों का विश्वास है कि सावन शिवरात्रि पर विधिपूर्वक पूजा और व्रत करने से भगवान भोलेनाथ शीघ्र प्रसन्न होते हैं और भक्तों की मनोकामनाएं पूर्ण करते हैं। शास्त्रों में यह भी उल्लेख है कि इस दिन शिवलिंग पर जल, दूध, बेलपत्र, धतूरा, शहद, दही और गंगाजल चढ़ाने से विशेष पुण्य की प्राप्ति होती है। रात्रि के चारों प्रहरों में अलग-अलग तरीके से शिव की पूजा करना श्रेष्ठ माना गया है।

Read More : Bhagavad Gita: भागवद गीता के 10 अमूल्य जीवन सबक, जो बदल सकते हैं आपकी सोच

पूजा विधि

सावन शिवरात्रि की पूजा प्रातःकाल स्नान करके व्रत का संकल्प लेने से आरंभ होती है। शिवलिंग को गंगाजल और पंचामृत से स्नान कराया जाता है। इसके बाद शिवजी को बेलपत्र, भस्म, धतूरा, फल, फूल और चंदन अर्पित किए जाते हैं। पूजा में “ॐ नमः शिवाय” मंत्र का जाप करना अत्यंत शुभ होता है।

रात्रि के समय चार प्रहरों में शिव पूजा करना श्रेष्ठ माना गया है:

-प्रथम प्रहर: दूध से अभिषेक

-द्वितीय प्रहर: दही से अभिषेक

-तृतीय प्रहर: घी से अभिषेक

-चतुर्थ प्रहर: शहद से अभिषेक

पूरे दिन उपवास रखने के बाद रात्रि में शिव जागरण और आरती करना अत्यंत लाभकारी होता है।

Read More : Sawan Somwar 2025: दिल्ली के इन प्रसिद्ध महादेव मंदिरों में करें सोमवार की पूजा, पाएं शिव कृपा

व्रत का महत्व

सावन शिवरात्रि का व्रत विवाहित और अविवाहित दोनों ही स्त्रियों के लिए फलदायक होता है। विवाहित महिलाएँ अपने पति की लंबी उम्र के लिए यह व्रत रखती हैं, जबकि अविवाहित युवतियाँ अच्छे वर की प्राप्ति के लिए भगवान शिव की आराधना करती हैं। पुरुष भी इस दिन उपवास रखकर शिव जी से सुख-शांति और समृद्धि की प्रार्थना करते हैं। सावन शिवरात्रि केवल एक धार्मिक अनुष्ठान नहीं, बल्कि आत्मशुद्धि और भक्ति का पर्व है। यह दिन हमें संयम, साधना और श्रद्धा का महत्व सिखाता है। भगवान शिव की कृपा पाने के लिए इस दिन की पूजा विधिपूर्वक और श्रद्धाभाव से करनी चाहिए। सावन शिवरात्रि 2025 को पूरे भक्ति भाव से मनाएं और शिव की महिमा में लीन हो जाएं”हर हर महादेव!”

We’re now on WhatsApp. Click to join.

अगर आपके पास भी हैं कुछ नई स्टोरीज या विचार, तो आप हमें इस ई-मेल पर भेज सकते हैं info@oneworldnews.com

Back to top button