Arvind Kejriwal Bail: जमानत के दौरान इस जगह नहीं जाएंगे अरविंद केजरीवाल, गवाहों से भी नहीं करेंगे संपर्क
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को 1 जून तक अंतरिम जमानत दे दी। 21 मार्च को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा गिरफ्तार किए जाने के बाद केजरीवाल फिलहाल दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं। कोर्ट ने उन्हें लोकसभा चुनाव प्रचार की अनुमति भी दे दी है। हालांकि अंतरिम जमानत पर रिहा होने के दौरान उन पर कुछ शर्तें लगाई गई है।
Arvind Kejriwal Bail: सीएम केजरीवाल को इन शर्तों पर मिली अंतरिम जमानत, जानिए सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा
Arvind Kejriwal Bail: दिल्ली के शराब नीति केस में सीएम अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने शुक्रवार को बड़ी राहत दे दी. केजरीवाल को 1 जून तक के लिए अंतरिम जमानत मिल गई है. कोर्ट ने अरविंद केजरीवाल को 4 शर्तों के आधार पर बेल दी. साथ ही 50 हजार रुपये का बेल बॉन्ड भरने को कहा. जमानत के दौरान केजरीवाल लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Elections 2024) के बाकी 4 फेज की वोटिंग के लिए प्रचार कर सकेंगे. उन्हें 2 जून को हर हाल में सरेंडर करने को कहा गया है.
1 जून तक के लिए मिली अंतरिम जमानत
इससे पहले, सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को 1 जून तक अंतरिम जमानत दे दी। 21 मार्च को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा गिरफ्तार किए जाने के बाद केजरीवाल फिलहाल दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं। कोर्ट ने उन्हें लोकसभा चुनाव प्रचार की अनुमति भी दे दी है।
सुप्रीम कोर्ट की तरफ से लगाई गई ये शर्तें:
1. सीएम केजरीवाल दिल्ली सचिवालय नहीं जाएंगे
2. केजरीवाल केस के किसी गवाह से नहीं मिलेंगे
3. केजरीवाल सीएम दफ्तर भी नहीं जाएंगे
4. केजरीवाल किसी फाइल पर साइन नहीं करेंगे
5. वह केस पर अपनी भूमिका के बारे में बयान नहीं देंगे
50 हजार रुपये का भरना होगा बांड
इसके अतिरिक्त, केजरीवाल को जमानत पर बाहर आने के लिए 50 हजार रुपये का जमानत बांड भरना होगा। इस दौरान वह अपने सराकारी दफ्तरों का दौरा नहीं करेंगे। वह आधिकारिक फाइलों पर तब तक हस्ताक्षर नहीं करेंगे, जब तक कि यह आवश्यक न हो और दिल्ली के उपराज्यपाल की मंजूरी/अनुमोदन प्राप्त करने के लिए आवश्यक न हो।
इस मामले में उपराज्यपाल से लेनी होगी मंजूरी
कोर्ट ने यह भी कहा है कि केजरीवाल उनकी ओर से कोर्ट में दिये गए इस बयान से बंधे होंगे कि वह जमानत के दौरान किसी ऑफिशियल फाइल पर तब तक हस्ताक्षर नहीं करेंगे, जब तक कि किसी मामले में दिल्ली के उपराज्यपाल से मंजूरी लेने के लिए ऐसा करना जरूरी न हो।
कोर्ट ने क्या कहा?
न्यायमूर्ति संजीव खन्ना और दीपांकर दत्ता की पीठ ने अरविंद केजरीवाल को मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में एक जून तक अंतरिम जमानत पर रिहा करने का आदेश देते हुए कहा कि केजरीवाल जेल अधीक्षक की संतुष्टि का पचास हजार का निजी मुचलका भरेंगे और इतनी ही राशि का एक जमानती देंगे। केजरीवाल की गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई अभी लंबित है।
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