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Saffron Farming: एक सीज़न में करें लाखों की कमाई, मात्र चंद रैक और कुछ प्लास्टिक कंटेनर की ज़रूरत

जम्मू-कश्मीर में स्थित बड़गाम के पखरपुरा गाँव में रहने वाले कंप्यूटर इंजीनियर राशिद ख़ान केसर के बीज से कमाते हैं लाखों रुपए।

Saffron Farming: खत्म हो रहा था केसर का उद्योग, तापमान का ध्यान रखना बेहद जरूरी


घरों के अंदर केसर की खेती के जरिए बेहतरीन अतिरिक्त आय हो सकती है और इसके लिए बड़े खेतों की भी ज़रूरत नहीं है। इसमें कोई मेहनत भी नहीं लगती।
Saffron Farming: केसर को धरती का सोना कहा जाता है. यह दुनिया का सबसे महंगा मसाला है। यह सोना और चांदी जैसा कीमती होता है। बाजार में एक किलोग्राम केसर की कीमत 3,00,000 रुपये से भी ज्यादा है। केसर की खेती मुख्य रूप जम्मू कश्मीर और हिमाचल प्रदेश के कुछ हिस्सों में की जाती है लेकिन कृषि वैज्ञानिकों की कड़ी मेहनत और खोज से केसर की खेती अब मैदानी इलाकों में भी संभव हो सका है।

क्या कहते हैं ये किसान

जम्मू-कश्मीर में स्थित बड़गाम के पखरपुरा गाँव में रहने वाले कंप्यूटर इंजीनियर राशिद ख़ान केसर के बीज से कमाते हैं लाखों रुपए। आपको बता दें कि केसर की खेती राशिद का ख़ानदानी पेशा नहीं है और न ही पखरपुरा की ज़मीन इसके लिए उपयुक्त है।

बहुत उपयोगी है केसर

केसर दूध और क़हवे में इस्तेमाल होता है और इसके अलावा यह कॉस्मेटिक प्रॉडक्ट्स और कई तरह की दवाइयों में भी इस्तेमाल होता है। लेकिन पिछले कई वर्षों से यहाँ केसर की पैदावार में बहुत कमी आई है और कई सारे किसानों के खेत बंजर हो गए हैं।

दुनिया का सबसे महंगा मसाला केसर

भारतीय प्रशासित कश्मीर में केसर की खेती पुलवामा के पामपूर कसबे के पठारों पर होती है। दुनिया का सबसे महंगा मसाला कहलाने वाले केसर की खेती में गिरावट को देखते हुए, राशिद ख़ान ने अपने ही घर के एक कमरे में इसकी खेती का कामयाब प्रयोग किया।

खत्म हो रहा था केसर का उद्योग

राशिद कहते हैं, “मैं रोज़ टीवी पर सुनता था और अख़बारों में पढ़ता था कि केसर का उद्योग ख़त्म हो रहा है। मैंने इस पर ग़ौर किया और यहाँ की एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी के विशेषज्ञों से संपर्क किया। हमने बीज ख़रीदे और कमरे में रख दिए, आज आप देख रहे हैं कि केसर की फ़सल तैयार है।”

घरों के अंदर भी उगा सकते हैं केसर

घरों के अंदर केसर की खेती के ज़रिये बेहतरीन अतिरिक्त आय हो सकती है और इसके लिए बड़े खेतों की भी ज़रूरत नहीं है। इसमें कोई मेहनत भी नहीं लगती।

तापमान का ध्यान रखना बेहद जरूरी

आपको बता दें कि केसर की खेती में सिर्फ़ तापमान का ध्यान रखना होता है और अगर नमी कम हो जाए तो दीवार पर पानी का छिड़काव करके नमी को बनाए रखा जा सकता है। इस तरह पैसा भी आता है और यह तसल्ली भी रहती है कि हमारी सबसे अहम फ़सल ख़त्म नहीं होगी।
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