UPI Payment New rules: 15 सितंबर से UPI पेमेंट में नया नियम लागू – Google Pay, PhonePe, Paytm कैसे होंगे प्रभावित?
UPI Payment New rules, डिजिटल पेमेंट को बढ़ावा देने के लिए भारत सरकार और NPCI (National Payments Corporation of India) ने यूपीआई (Unified Payments Interface)
UPI Payment New rules : लागू होंगे नए नियम, जानिए Google Pay, PhonePe, Paytm पर असर
UPI Payment New rules, डिजिटल पेमेंट को बढ़ावा देने के लिए भारत सरकार और NPCI (National Payments Corporation of India) ने यूपीआई (Unified Payments Interface) को देश में सबसे लोकप्रिय और सुरक्षित पेमेंट प्लेटफॉर्म के रूप में स्थापित किया है। यूपीआई ने नकदी रहित लेन-देन को बेहद आसान, तेज़ और सुरक्षित बना दिया है। लेकिन अब 15 सितंबर 2025 से यूपीआई पर नए नियम लागू किए जा रहे हैं, जो हर उपयोगकर्ता के लिए बेहद महत्वपूर्ण साबित होंगे।
UPI Payment क्या है?
UPI (Unified Payments Interface) एक रियल-टाइम पेमेंट सिस्टम है, जिसे NPCI ने विकसित किया है। इसके माध्यम से बैंक अकाउंट से सीधे पैसे ट्रांसफर किए जा सकते हैं, बिना किसी फॉर्म भरने या लंबी प्रक्रियाओं के।
UPI के जरिए आप मोबाइल नंबर, UPI ID, QR Code आदि से भी पेमेंट कर सकते हैं। Google Pay, PhonePe, Paytm जैसे ऐप्स इसी सिस्टम का उपयोग करते हैं ताकि उपयोगकर्ता सरलता से पैसों का लेन-देन कर सकें।
नए नियम लागू होने की वजह
डिजिटल ट्रांजैक्शन की संख्या लगातार बढ़ रही है। इसके साथ-साथ साइबर फ्रॉड्स, फर्जी लेन-देन और धोखाधड़ी की घटनाएं भी बढ़ती जा रही हैं। इसलिए सरकार ने यूपीआई पर नए नियम लागू करने का निर्णय लिया है, ताकि लेन-देन और भी सुरक्षित, पारदर्शी और विश्वसनीय बन सके।
इन नए नियमों का उद्देश्य है:
-उपयोगकर्ता की पहचान को और मजबूत बनाना।
-फर्जी और अवैध लेन-देन पर अंकुश लगाना।
-डिजिटल लेन-देन को पारदर्शी और ट्रैकेबल बनाना।
-उपयोगकर्ता की सुविधा और सुरक्षा सुनिश्चित करना।
UPI के नए नियम क्या हैं?
-यूजर वेरिफिकेशन प्रक्रिया और KYC सख्ती
15 सितंबर 2025 से हर यूजर को UPI पेमेंट के लिए अपने बैंक अकाउंट को आधार से लिंक कराना जरूरी होगा। इसके साथ ही ई-केवायसी (e-KYC) अपडेट अनिवार्य कर दिया जाएगा। केवल पूर्ण KYC वाले उपयोगकर्ता ही UPI पेमेंट का लाभ उठा सकेंगे। इससे फर्जी अकाउंट्स पर रोक लगेगी।
-लेन-देन सीमा में बदलाव
सरकार ने प्रति लेन-देन और प्रति दिन की ट्रांजैक्शन लिमिट को सख्त किया है। उदाहरण के लिए, अब प्रत्येक UPI लेन-देन की अधिकतम सीमा ₹1 लाख निर्धारित की जा सकती है। इससे बड़े धनराशि के फर्जी ट्रांजैक्शन को रोका जा सकेगा।
-मल्टी-फैक्टर ऑथेंटिकेशन (MFA)
हर UPI ट्रांजैक्शन में अब मल्टी-फैक्टर ऑथेंटिकेशन लागू किया जाएगा। इसका मतलब है कि सिर्फ UPI PIN भरना ही काफी नहीं होगा, बल्कि बैंक द्वारा भेजे गए OTP (One-Time Password) से भी वेरिफिकेशन करना जरूरी होगा। इससे सुरक्षा बढ़ेगी।
-UPI ट्रांजैक्शन का रिकॉर्ड
अब सभी UPI ट्रांजैक्शन का पूरा रिकॉर्ड बैंक और NPCI के पास सुरक्षित रहेगा। उपयोगकर्ता अपने ट्रांजैक्शन हिस्ट्री को कभी भी ऑनलाइन चेक कर सकेंगे। इससे उपयोगकर्ता को भी लेन-देन की पारदर्शिता का भरोसा मिलेगा।
-यूनीक QR कोड का अनिवार्य उपयोग
15 सितंबर से QR कोड से पेमेंट करते समय केवल यूनिक QR कोड ही मान्य होंगे। इससे स्कैमर्स द्वारा नकली QR कोड से धोखाधड़ी करने का चांस खत्म होगा।
-इन-बिल्ट डिस्प्यूट रेजोल्यूशन सिस्टम
अब हर यूपीआई ऐप में इन-बिल्ट डिस्प्यूट रेजोल्यूशन सिस्टम लागू होगा, जिससे किसी भी पेमेंट विवाद को जल्दी से सुलझाया जा सकेगा। उपयोगकर्ता आसानी से शिकायत दर्ज कर सकेंगे और उसका समाधान पाकर संतुष्ट रहेंगे।
Google Pay, PhonePe, Paytm पर असर
इन नए नियमों के लागू होने से Google Pay, PhonePe, Paytm जैसे ऐप्स पर निम्नलिखित बदलाव देखने को मिलेंगे:
-उपयोगकर्ता को अपनी KYC प्रक्रिया पूरी करनी होगी।
-हर ट्रांजैक्शन पर मल्टी-फैक्टर ऑथेंटिकेशन लागू होगा।
-फर्जी अकाउंट्स और फर्जी लेन-देन पर रोक लगेगी।
-एप के यूजर इंटरफेस में नए वेरिफिकेशन विकल्प जुड़ेंगे।
-UPI ट्रांजैक्शन के रिकॉर्ड और स्टेटस की सुविधा और अधिक पारदर्शी होगी।
-QR कोड स्कैनिंग सिस्टम और अधिक सुरक्षित बनेगा।
इन बदलावों से उपयोगकर्ताओं को ज्यादा सुविधा, बेहतर सुरक्षा और संतोषजनक अनुभव मिलेगा। इसके साथ ही धोखाधड़ी के मामलों में भी कमी आएगी।
उपयोगकर्ताओं को क्या करना होगा?
तुरंत अपने बैंक अकाउंट को आधार से लिंक करें।e-KYC प्रक्रिया को अपडेट करें। UPI ऐप्स में नए मल्टी-फैक्टर ऑथेंटिकेशन विकल्प को समझें। यूनिक QR कोड से पेमेंट करना सुनिश्चित करें। लेन-देन की लिमिट और नियम को समझें ताकि कोई समस्या न हो। किसी भी संदिग्ध ट्रांजैक्शन की शिकायत तुरंत करें। UPI Payment के नए नियम 15 सितंबर 2025 से लागू होने जा रहे हैं, जो डिजिटल लेन-देन को और भी सुरक्षित और विश्वसनीय बनाएंगे। Google Pay, PhonePe, Paytm जैसे प्रमुख प्लेटफॉर्म्स ने भी इन नियमों को अपनाने की तैयारी शुरू कर दी है। यह बदलाव न केवल उपयोगकर्ताओं के लिए बेहतर सुरक्षा की गारंटी देंगे, बल्कि पूरे देश में डिजिटल लेन-देन की पारदर्शिता भी सुनिश्चित करेंगे। ऐसे में हर यूजर को चाहिए कि समय रहते अपने अकाउंट और UPI ऐप्स को नए नियमों के अनुरूप अपडेट कर लें ताकि भविष्य में किसी भी प्रकार की परेशानी से बचा जा सके।
We’re now on WhatsApp. Click to join.
अगर आपके पास भी हैं कुछ नई स्टोरीज या विचार, तो आप हमें इस ई-मेल पर भेज सकते हैं info@oneworldnews.com







