JNU violence: JNU हिंसा को लेकर पुलिस की कार्यवाही में 13 लोग की पहचान हुई
JNU violence: JNU हिंसा को लेकर पुलिस की कार्यवाही में 13 लोग की पहचान हुई
JNU violence: जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी (जेएनयू) परिसर में रविवार को हुई हिंसा के मामले की जांच कर रही दिल्ली पुलिस क्राइम ब्रांच की टीम के हाथ कुछ सबूत लगे हैं जिसके आधार पर उन्होंने कुल 13 लोगों की पहचान की हैै। इन सभी 13 लोगों को रविवार दोपहर से शाम करीब 7:30 बजे तक हुए हिंसा में शामिल होने का ज़िम्मेवार माना जा रहा है।
JNU हिंसा में 13 लोगों पर शक
JNU हिंसा में 13 लोगों को शक के दायरे में रखा गया हैं। इनमे से 7 की शिनाख्त जांच टीम ने सोमवार को ही कर दी थी। बाकी अन्य लोगों की शिनाख्त गत दो दिनों में हुई है। इस शिनाख्त में पुलिस की सहायता कैंपस में स्थित एसबीआई बैंक शाखा में लगे एक सीसीटीवी कैमरे ने की हैं। सूत्रों के अनुसार, हिंसा करने वाले नकाबपोश यह बात जानते थे कि परिसर के होस्टल में सीसीटीवी नहीं है और कई हमलावार छात्रों ने बैंक के पास से गुजरने के दौरान अपने चेहरे पर नकाब नहीं लगा रखा था। इसके साथ ही इस सीसीटीवी कैमरे की फुटेज में करीब आधा दर्जन और लोग बिना नकाब के दिख रहे हैं। हालांकि, पुलिस के अनुसार, उनकी तस्वीर थोड़ी धुंधली होने के कारण पहचान नहीं हो पा रही है। जांच टीम के अनुसार उनकी भी पहचान करने की कोशिश की जा रही है और शारीरिक ढांचा और कपड़ों से पहचान कर ली जाएगी।
जेएनयू में भी पुलिस ने लिया पोस्टर का सहारा
दिल्ली पुलिस क्राइम ब्रांच की टीम पोस्टर अभियान के तर्ज पर जेएनयू हिंसा मामले में भी पोस्टर का सहारा ले रही है। पुलिस ने परिसर में पीले रंग के दो पोस्टर चिपका दिए हैं। इन दोनों पोस्टर में पुलिस ने दो मोबाइल नंबर दिए हैं, जिसमें अपील की है कि अगर कोई छात्र या कर्मचारी हिंसा में शामिल नकाबपोशो की पहचान कर सकता है तो वह इन दो नंबर पर फोन कर बता सकता है। 24 घंटों बाद भी किसी भी छात्र ने इन दो नंबर पर फोन नहीं किया है।
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13 लोगों के मोबाइल लोकेशन को बनाया आधार
क्राइम ब्रांच टीम ने जिन 13 लोगों की पहचान की है, उनके मोबाइल के लोकेशन की जांच कर रही है। इसमें हिंसा के समय मोबाइल का लोकेशन, वाट्सएप ग्रुप पर इस हिंसा को लेकर डाले गए पोस्ट के ग्रुपों की जांच, हिंसा भड़काने को लेकर पोस्ट डालने वाले नंबरों की जांच की जा रही है। इसके साथ ही हिंसा के दौरान हिंसा में उनकी भूमिका और यह भी जांच की जा रही है कि उनका जेएनयू से संबंध है या नहीं। पहचान के बाद समन जारी कर पूछताछ के लिए बुलाया जा सकता है। क्राइम ब्रांच को 6 वाट्सएप ग्रुप के बारे में जानकारी दी गई है, जिसके माध्यम से इकट्ठा होने, हथियार लाने, नकाबपोशों की पहचान करने के लिए बोले जाने वाले कोडवर्ड जारी किए गए थे।
आइशी घोष को 3 दिन में जांच टीम के समक्ष उपस्थित होने का आदेश
क्राइम ब्रांच की जांच टीम ने जेएनयू छात्र संघ की अध्यक्ष आइशी घोष को अगले तीन दिनों के अंदर जांच टीम के समक्ष उपस्थित होकर अपना पक्ष रखने के लिए समन जारी किया है।
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