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7 Wonders Of The World: दिल्ली में देखें पेरिस का Eiffel Tower, इस पार्क में कचरे से बनाई गई हैं कई इमारतें

7 Wonders Of The World: आज हम दुनिया के ऐसे सात अजूबों के बारे में बताने जा रहे हैं जो मानव के द्वारा बनाए गए सबसे आश्चर्य में डाल देने वाले स्थान और इमारत हैं। लेकिन अब इन्हें देखने के लिए आपको विदेश जाने की भी जरूरत नहीं पड़ेगी बल्कि आप दिल्ली में ही इन्हें देख सकते हैं।

7 Wonders Of The World: दिल्ली में 150 टन कचरे से बने हैं दुनिया के ये अजूबे, आप भी जाकर देखें

Seven Wonders of The World: दुनिया के सात अजूबे का इतिहास बहुत ही प्राचीन है। प्राचीन समय से ही दुनिया भर में मौजूद अजीबोगरीब और आश्चर्य में डाल देने वाले चीजों की सूची पुराने समय से बनाई जा रही है। सबसे पहले इसका विचार ग्रीक इतिहासकार हेरोडोटस और विद्वान कल्लिमचुस को आज से करीब 2200 साल पहले आया था। प्रकृति स्वयं भी दुनिया भर में कहीं ना कहीं कोई ना कोई अजूबा बनाती रहती है लेकिन जब कोई इंसान या फिर इंसानों के समूह के द्वारा कोई ऐसी चीज बना दे जिसे देखकर लोग आश्चर्य में पड़ जाए ऐसे अजूबों को मानव निर्मित अजूबे माने जाते हैं। आज हम दुनिया के ऐसे सात अजूबों के बारे में बताने जा रहे हैं जो मानव के द्वारा बनाए गए सबसे आश्चर्य में डाल देने वाले स्थान और इमारत हैं। लेकिन अब इन्हें देखने के लिए आपको विदेश जाने की भी जरूरत नहीं पड़ेगी बल्कि आप दिल्ली में ही इन्हें देख सकते हैं।

दिल्ली में दिखेगी पिरामिड की प्रतिकृतियां

दिल्ली के 7 wonders of the world पार्क में गीजा के महान पिरामिड की प्रतिकृतियां हैं जो प्राचीन दुनिया के सात आश्चर्यों में से सबसे पुराना है। दिल्ली के पार्क में तो इसकी रेप्लिका है लेकिन असल में जिस जगह ये स्थित है उसे 2560 ईसा पूर्व यानी लगभग 4580 साल पहले बनाया गया था। माना जाता है कि इसे बनाने में 23 साल का लंबा वक्त लगा था और एक लाख से ज्यादा मजदूरों ने इसका निर्माण किया था। हालांकि, आप इसकी रेप्लिका को दिल्ली में ही देख सकते हैं।

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झुकी हुई मीनार का भी करें दर्शन

पीसा की झुकी हुई मीनार मध्यकालीन दुनिया के सात आश्चर्यों में से एक है। निजामुद्दीन स्टेशन के नजदीक स्थित पार्क में पीसा का मीनार आप देख सकते हैं और इेस हूबहू वैसे ही बनाया गया है जैसे कि इटली में देखने को मिलती है। इटली में ‘लीनिंग टावर ऑफ पीसा’ को वास्तुशिल्प का अदभुत नमूना माना जाता है। इसे अजूबा इसलिए कहा जाता है क्योंकि ये अपने निर्माण के बाद से ही लगातार नीचे की ओर झुकती जा रही है। इसके झुकने की वजह से वो दुनिया भर में भी मशहूर रही है। दिल्ली के पार्क की मीनार में वैसा अजूबा तो नहीं है लेकिन रेप्लिका में आप झुकी हुई मीनार बखूबी देख सकते हैं।

इटली के कोलोसियम का दिखेगा नजारा

कोलोसियम या कोलिसियम इटली देश के रोम नगर के रोमन साम्राज्य का सबसे बड़ा एलिप्टिकल एंफीथियेटर है जिसे देखने को हर किसी का जी चाहता है। यह रोमन स्थापत्य और अभियांत्रिकी का सर्वोत्कृष्ट नमूना माना जाता है। लेकिन आप इसे दिल्ली में एक रेप्लिका के रूप में देख सकते हैं।

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दिल्ली में क्राइस्ट द रिडीमर का भी करें दीदार

क्राइस्ट द रिडीमर वैसे तो ब्राजील के रियो डी जेनेरो में स्थित है लेकिन वहां जाना हर किसी के बस की बात नहीं है। लेकिन वंडर ऑफ वर्ल्ड पार्क में आप इसकी रेप्लिका को भी उसी रूप में देख सकते हैं। यह एक ईसा मसीह की प्रतिमा है जिसे दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा आर्ट डेको स्टैच्यू माना जाता है। असल में ये प्रतिमा अपने 9.5 मीटर आधार सहित 39.6 मीटर लंबी और 30 मीटर चौड़ी है लेकिन दिल्ली में इसे छोटा सा आकर दिया गया है।

अब दिल्ली में भी ताजमहल

भारत का रत्न कहे जाने वाले ताजमहल को दुनिया के नए 7 अजूबों में से एक माना जाता है जो कि आगरा में स्थित है। वैसे तो आप आगरा आसानी से जा सकते हैं लेकिन अगर दिल्ली में इसे देखने की लालसा रखते हैं तो उसकी रेप्लिका भी आप इस पार्क में देख सकते हैं जिसे कचरे से बनाया गया है।

दिल्ली में करें पेरिस की सैर

फ्रांस की राजधानी में पेरिस में स्थित एफिल टॉवर भी एक अजूबा है और यहां पर आना हर किसी का एक सपना होता है। लेकिन दिल्ली के पार्क में भी आप इसे देख सकते हैं जो हूबहू पेरिस के टॉवर की तरह की बनाया गया है।

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न्यूयॉर्क का स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी दिल्ली में

स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी न्यूयॉर्क हार्बर में स्थित है। ये तांबे की मूर्ति 151 फुट लंबी है। 22 मंजिला इस मूर्ति के ताज तक पहुंचने के लिये 354 घुमावदार सीढ़ियां चढ़नी पड़ती हैं। जहां पहुंचना हर किसी के लिए आसान नहीं है। लेकिन दिल्ली के पार्क में आप इसका दीदार बिना विदेश जाए भी कर सकते हैं और यहां बच्चे भी आ सकते हैं।

डायनासोर पार्क का भी हो चुका निर्माण

आपको बता दें कि वेस्ट टू वंडर पार्क में डायनासोर पार्क का निर्माण भी हो चुका है। इस पार्क में 250 टन से ज्यादा कबाड़ से डायनासोर की स्टेच्यू को बनाया गया है। इस पार्क में लगभग 40 डायनासोर के स्टेच्यू बनाए जाएंगे। जिनमें से 24 छोटे और 16 बड़े आकार के स्टेच्यू हैं।

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vrinda

मैं वृंदा श्रीवास्तव One World News में हिंदी कंटेंट राइटर के पद पर कार्य कर रही हूं। इससे पहले दैनिक भास्कर, दैनिक जागरण और नवभारत टाइम्स न्यूज पेपर में काम कर चुकी हूं। मुझसे vrindaoneworldnews@gmail.com पर संपर्क किया जा सकता है।
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