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कश्‍मीर घाटी में छापों के दौरन मिले चीन के झड़े

कश्‍मीर घाटी में छापों के दौरन मिले चीन के झड़े


कश्‍मीर में चीन के झंडे

कश्‍मीर घाटी में छापों के दौरन मिले चीन के झड़े :- जम्‍मू कश्मीर में तनाव की स्थिति होना कोई नई बात नहीं है। मगर अब इस तनाव के बीच अब एक चिंता की नई वजह इस में जुड़ गई है। हाल ही के दिनों में सुरक्षाबलों  के द्वारा मारे गए छापों में कथित रूप से आतंकवादियों द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली चीज़ों  जैसे, कि  पेट्रोल बम, भारत के विरोधी में प्रचार करने वाली  सामग्री, अनधिकृत सेलफोन और जैश-ए-मोहम्मद तथा लश्कर-ए-तैयबा जैसे आदि आतंकी संगठनों से जुड़े दस्तावेज़ के साथ अब चीन के झंडे भी बरामद हुए हैं। जो चिंता का नया विषय बना गया है।

कश्‍मीर घाटी में छापों के दौरन मिले चीन के झड़े
पाकिस्‍तान और चीन का झ़डा

दरअसल, 100 दिन तक शांति बनाए रखने के बाद सुरक्षाबलों ने बारामूला में व्यापक तलाशी अभियान चलाया था।  22 साल के बुरहान वानी  आतंकवादी के इस साल जुलाई में मारे जाने के बाद से बीते तीन महीने से कश्‍मीर घाटी में अशांति का मोहल्‍ल बना हुआ और इस दौरन  बारामूला ही सबसे ज़्यादा प्रभावित वाला इलाका रहा है। जम्‍मू की राजधानी श्रीनगर से करीबन 55 किलोमीटर की दूरी पर बसा बारामूला में प्रदर्शनकारियों का खासा नियंत्रण रहा है। साथ ही वहां  कर्फ्यू लगा हुआ है लेकिन बार-बार कर्फ्यू तोड़कर सुरक्षाबलों और उनके वाहनों, कार्यालयों पर हमले करते रहे है। इस प्रदर्शनकारियों के द्वारा पाकिस्तान देश के झंडे लहराया और देखना कोई नई बात नहीं है, क्‍योंकि ऐसा आगे दिन घाटी में होता रहता है। मगर अब खुफिया एजेंसियों को हाल ही के दिनों में बड़े-बड़े प्रदर्शनों के दौरान चीन देश के झंडे देखे  जाना चिंता का विषय बन गया  है।

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कश्‍मीर घाटी में छापों के दौरन मिले चीन के झड़े
कश्‍मीर में चीन के झड़े

सेना के एक प्रवक्ता ने यह जानकारी साझा की है, कि बारामूला की पुरानी बस्ती में व्यापक तलाशी अभियान के तहत 17 अक्टूबर यानि सोमवार को 12 घंटे के भीतर 700 से भी ज़्यादा घरों की तलाशी ली गई। साथ ही दस जगहों पर छापे मारे गए, जहां पथराव करने वालों तथा संदिग्ध आतंकियों की मदद करने वालों के रहने की संभावना थी।

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