सेहत

Effects of Overthinking and Stress: आपके मेंटल हेल्थ को कैसे प्रभावित कर रही ओवरथिंकिंग, जानें स्ट्रेस को कंट्रोल करने के आसान तरीके

Effects of Overthinking and Stress: ओवरथिंकिंग से उबरने के रास्ते नहीं खोजे गए तो ये डिप्रेशन और सुसाइड तक की वजह बन सकता है। ऐसे में कुछ तरीकों की मदद से इसे हैंडिल किया जा सकता है।

Effects of Overthinking and Stress: ओवरथिंकिंग से बचने के ये हैं आसान उपाय

आज की डिजिटल यंग जेनरेशन के अधिकतर लोगों में फोकस की कमी है। वे किसी न किसी तरीके की मेंटल हेल्थ से जुड़ी समस्या से जूझ रहे हैं। मेंटल हेल्थ खराब होने के कई कारण होते हैं और ओवरथिंकिंग इनमें से एक है। इन दिनों कई लोग इससे प्रभावित हैं। खासकर यंग जनरेशन में यह आम हो गया है। सोशल मीडिया के इस जमाने में हंसती खेलती फोटो के पीछे कई उदास और बेचैन चेहरे छिपे होते हैं, जिन्हें पहचानना बहुत जरूरी है। Effects of Overthinking and Stress ओवरथिंकिंग से उबरने के रास्ते नहीं खोजे गए तो ये डिप्रेशन और सुसाइड तक की वजह बन सकता है। ऐसे में कुछ तरीकों की मदद से इसे हैंडिल किया जा सकता है। आज हम आपको अपने इस लेख में बताएंगे कि ओवरथिंकिंग की आदत मेंटल हेल्थ पर क्या असर डालती है। तो आइए जानते हैं विस्तार से-

ओवरथिंकिंग हमारी मेंटल हेल्थ को कैसे प्रभावित करती है?

डेली एक्टिविटी पर असर पड़ना Effects of Overthinking and Stress

ओवरथिंकिंग के कारण आपकी डेली एक्टिविटी पर भी असर पड़ सकता है। इसके कारण आपको काम में ध्यान लगाने में परेशानी हो सकती है, साथ ही आप डेली एक्टिविटी की कई चीजें भूल सकते हैं।

आत्म विश्वास की कमी होना

ज्यादा सोचने की आदत आपमें आत्म विश्वास की कमी ला सकती है। इसके कारण आपको कंफ्यूजन हो सकती है, कि आप ठीक सोच रहे हैं या नहीं। ये चीज आपमें कॉन्फिडेंस कम होने का कारण बन सकती है।

नींद से जुड़ी समस्याएं होना Effects of Overthinking and Stress

जो लोग ज्यादा सोचते हैं, उन्हें ठीक से सोने में परेशानी हो सकती है। वहीं लंबे समय तक ओवरथिंकिंग की आदत नींद से जुड़ी समस्याओं का कारण भी बन सकती है। इसके कारण आपको नींद न आना, बार-बार नींद खुलना या पर्याप्त नींद न ले पाने जैसी समस्याएं हो सकती है।

Read More:- Negative Thoughts Cause Disease: दिनभर निगेटिव सोचने से हो सकती हैं ये गंभीर बीमारियां, बिना संकेत के बढ़ जाता है रोग

फैसले लेने में परेशानी आना

बहुत ज्यादा सोचने की आदत आपके फैसले लेने की क्षमता कमजोर हो सकती है। ऐसे में कोई भी फैसला लेने में आप कॉन्फिडेंस की कमी महसूस हो सकती है। इसके अलावा आपको कोई भी चीज समझने मे परेशानी हो सकती है।

मानसिक समस्या का खतरा Effects of Overthinking and Stress

ओवरथिंकिंग की आदत के कारण आपको मानसिक स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं। इसके कारण आप अपने इमोशंस पर कंट्रोल खो सकते हैं, साथ ही आपको एंग्जायटी, स्ट्रेस और डिप्रेशन जैसी समस्याओं का खतरा भी हो सकता है।

रिश्तों में दूरी आना

अगर आप किसी चीज के बारे में ज्यादा निगेटिव सोचते हैं, तो ऐसे में आपके मन में दूसरों के लिए गलतफहमियां बढ़ सकती हैं। इसके कारण आपके रिश्तों में दूरियां बढ़ सकती हैं और आपको चीजें समझ पाने में भी परेशानी हो सकती है।

ओवरथिंकिंग से बचने के 4 टिप्स Effects of Overthinking and Stress

खुद को रखें व्‍यस्‍त

कई बार खालीपन ओवरथिंकिंग का कारण बन जाता है। ऐसे में कोशिश करें कि आप खुद को बिजी रखें और खाली समय में भी कुछ ना कुछ करते रहें। आप इस वक्‍त कुछ क्रिएटिव काम कर सकते हैं। मसलन पेंटिंग, डांसिंग, कुकिंग आदि।

We’re now on WhatsApp. Click to join.

खुद को रखें खुश Effects of Overthinking and Stress

आप यह प्रयास करें कि आपके आसपास खुशहाल लोग हों। इस तरह आप नकारात्‍मक माहौल से निकलकर खुद को खुश रखने का प्रयास करेंगे। इसके लिए आप नए दोस्‍त बनाएं। साथ घूमें फिरें, दीवारों से बाहर आकर प्रकृति के नजदीक जाएं।

मेडिटेशन करें

मेडिटेशन ओवरथिंकिंग से बचने में काफी मदद करता है। यह आपके मन को शांत करने और बुरे ख्‍यालों को रोकने काम करता है। यह आपके मानसिक थकान को भी दूर करने में मदद कर सकता है।

खुद को करें माफ Effects of Overthinking and Stress

अगर आपने अपने जीवन के शुरुआत में कुछ गलतियां की हैं तो हो सकता है कि वैसी गलतियां फिर ना हो, इसके लिए आप हर वक्‍त अलर्ट रहते हैं और आपके मन में कुछ खोने का डर बना रहता है। लेकिन बेहतर होगा कि अपनी पुरानी गलतियों को खोड़कर खुद का नए सिरे से स्‍वीकारें और खुद को माफ करें।

अगर आपके पास भी हैं कुछ नई स्टोरीज या विचार, तो आप हमें इस ई-मेल पर भेज सकते हैं info@oneworldnews.com

vrinda

मैं वृंदा श्रीवास्तव One World News में हिंदी कंटेंट राइटर के पद पर कार्य कर रही हूं। इससे पहले दैनिक भास्कर, दैनिक जागरण और नवभारत टाइम्स न्यूज पेपर में काम कर चुकी हूं। मुझसे vrindaoneworldnews@gmail.com पर संपर्क किया जा सकता है।
Back to top button