5 चीज़ें जो भावनात्मक रूप से समझदार लोग नहीँ करते
बनना है भावनात्मक रूप से समझदार तो मत कीजिये ये चीज़ें
एक रेस्ट्रॉन्ट का मेनेजर जो आये हुए लोगों को बड़े अच्छे से हैंडल करता है चाहे वे गुस्से में हो या किसी औ4 भाव में, आपका ऐसा दोस्त जिसे आप अपनी हर मुसीबत में याद करते हैं, किसी रिलेशन में ऐसा पार्टनर जो बड़ी सहजता से समस्या का हल निकालता है इन सभी लोगों में क्या समानता है कभी सोचा है आपने? 2 शब्दो में कहा जाये तो इमोशनल इंटेलिजेंस जिसे भावनात्मक समझदारी भी कहते हैं।
मानसिक विज्ञानं की माने तो इमोशनल इंटेलिजेंस वह हैं जब मनुष्य अपने भाव और दूसरों के भाव अच्छे से समझ पाए और फिर उनका हल भी निकाल पाए। यह मनुष्य के तीन स्किल काम आते हैं सबसे पहले अपने अंतर भावों को पहचानने की कऔर आस पास के लोगों के भावों को पहचानने की क्षमता दूसरा अपने भावों को कामो पर अप्लाई करने की क्षमता और तीसरा भावो को कंट्रोल करने की क्षमता चाहे वे खुद के हो या अपनी समझदारी से दूसरों के दुःख के भाव कम करना हो।
वे लोग जो भावनात्मक रूप से समझदार अधिक होते है वे अपना जीवन अधिक सुख शान्ति से व्यतीत करते हैं। चाहे ये उनकी सामाजिक ज़िन्दगी हो या फिर कामकाजी वे हर क्षेत्र में उन्नत होते हैं। स्टडीज के अनुसार उन्हें स्वास्थ्य से जुड़े रोग भी कम होते हैं। उनकी पर्सनल लाइफ भी वे अच्छे से मैनेज करते हैं तो यदि आप भी ऐसे बनना चाहते हैं तो आपको पता होना चाहिए की वे क्या नही करते।
- वो हर चीज़ के बारे में शिकायत नहीं करते : ऐसे लोगों की सबसे बड़ी खासियत यह है कि वे सभी चीज़ों के प्रति असंतोष नही प्रकट करते और जो भी उनके पास है वे उसी को उत्तम समझ कर सन्तुष्टि प्राप्त करते हैं। वे समझते हैं कि लगातार कंप्लेन करते रहने से आस पास के लोग भी प्रभावित होंगे इसलिए कुछ गलत भी होता है तो वे उसकी शिकायत करने की जगह उसे बेहतर बनाने में लग जाते है या फिर उसका कोई और हल निकाल लेते हैं।
- वो जल्दी से किसी भी चीज़ के लिए हाँ नहीं बोलते : सेल्फ कंट्रोल होना इमोशनली इंटेलीजेंट लोगों की सबसे बड़ी निशानी है। यदि उन्हें किसी चीज़ के नकारात्मक प्रभाव पता हैं तक वे उसके लिए सीधा न बोलेंगे और वे अपने maybe, i guess, जैसे शब्दों मे नहीं फसते। वे अपने फैसलों के बारे में पक्के होते हैं और वे बहुत अच्छे से ना बोलना जानते हैं।
- वे ज़्यादा गपशप में खुद को नहीं शामिल करते : जो लोग भावनात्मक रूप से समझदार नही होते वे खुद को दूसरों के चुगलियां करने में , फालतू के गपशप करने में खूब शामिल रखते है पर ऐसा कुछ समझदार लोगों के साथ नही होता। वे जानते हैं कि हर मनुष्य में अपनी अलग काबिलियत होती है और किसी के बारे में पीठ पीछे बुराई करना उसके साथ अन्याय करने जैसा है।
- वे अपनी खुशी के लिए दूसरो पर निर्भर नही होते : भावनात्मक रूप से समझदार लोग अपनी ख़ुशी का आधार दुसरो को नहीं बनाते। वे जानते हैं कि अपनी ख़ुशी के लिए दूसरों पर निर्भर होने का अर्थ खुद का गला घोंटने जैसा है। या तो वे अपने भावों को अच्छे से हैंडल करते हैं या फिर वे खुद को ऐसे कामो में व्यस्त करते हैं जो उन्हें सुकून दे।
- वे खुद से नकारात्मक बातें नहीं करते : हम में से कई लोग ऐसे हैं जो खुद को कम आंकते हैं। वे अधिकतर बोलते है कि मैं अट्ट्रक्टिव नही हु, मेरे अंदर ये कमी है। इमोशनली इंटेलीजेंट लोगों के अंदर यह ख़ास बात होती है कि वे इससे पहले ऐसे खयालो से पूरी तरह ग्रस्त हों वो उन्हें दिमाग से या तो निकाल देते हैं या फिर उन्हें सकारात्मकता से लेते हुए उनपर काम करना शुरू कर देते हैं।