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Noida Metro: मेट्रो से सफर करने वाले हो जाए सावधान, पड़ने वाला है आपके जेब पर असर

Noida Metro: मेट्रो कार्ड में कम से कम रखने होगें इतने रूपये, वरना नहीं कर पाएगें सफर


Highlight

.  दिल्ली मेट्रो दुनिया के उन पांच मेट्रो में शामिल होने वाली है जो ड्राइवरलेस मेट्रो का संचालन करती है।

.  मेट्रो कार्ड में कम से कम 50 रुपए नहीं होंगे तो आप मेट्रो स्टेशन के भीतर प्रवेश नहीं कर पाएंगे।

.  मेट्रो कार्ड में न्यूनतम राशि को लेकर यह नियम 16 जनवरी से लागू हो रहा है।

Noida Metro  नोएडा-ग्रेटर नोएडा मेट्रो ने मेट्रो कार्ड में मिनिमम बैलेंस रखने को लेकर एक बड़ा फैसला लिया है। कार्ड में मिनिमम बैलेंस को पांच गुना बढ़ा दिया है। नए नियम के अनुसार अब अगर आपके मेट्रो कार्ड में कम से कम 50 रुपए नहीं होंगे तो आप मेट्रो स्टेशन के भीतर प्रवेश नहीं कर पाएंगे। मेट्रो स्टेशनों के भीतर भीड़भाड़ को देखते हुए नोएडा-ग्रेटर नोएडा मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन ने यह फैसला लिया है।

एनएमआरसी प्रबंध निदेशक रितु माहेश्वरी ने बताया कि इस निर्णय से मुसाफिरों को होने वाली दिक्कतों से निजात मिल सकेगी। उन्होंने बताया कि पहले स्मार्ट कार्ड के लिए न्यूनतम 10 रुपये का बैलेंस रखना अनिवार्य था, लेकिन अब इसे बढ़ाकर न्यूनतम बैलेंस 50 रुपये कर दिया गया है।

10 रुपये के न्यूनतम बैलेंस वाले स्मार्ट कार्ड के जरिये स्टेशनों में आसानी से प्रवेश हो जाता था। लेकिन दो स्टेशनों से अधिक दूरी तय करने के बाद किराया अधिक होने के कारण यात्रियों का निकास द्वार पर स्मार्ट कार्ड काम नहीं करता था। जिसके कारण उन्हें स्टेशन से बाहर निकलने में काफी दिक्कत होती थी। यात्रियों की इसी परेशानी को दूर करने के लिए एनएमआरसी ने न्यूनतम बैलेंस 50 रुपये करने का निर्णय लिया।

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बता दें कि, मेट्रो स्टेशन में प्रवेश पाने के लिए मेट्रो कार्ड में आवश्यक न्यूनतम राशि को लेकर यह नियम 16 जनवरी से लागू हो रहा है। एनएमआरसी ने अपने दिए आदेश में कहा है कि यात्रियों की समस्या को ध्यान में रखते हुए और ऑपरेशनल समस्याओं का हल निकालने के लिए एनएमआरसी ने मेट्रो कार्ड में मिनिमम बैलेंस रखने के नियम को बदल दिया है।

अब तक मेट्रो स्टेशन में प्रवेश पाने के लिए कार्ड में दस रुपए होना जरूरी है। मगर 16 जनवरी से 50 रुपए नहीं होंगे तो एंट्री में नहीं मिलेगी। एनएमआरसी मेट्रो से हर दिन करीब 45 से 50 हजार लोग ट्रेवल करते हैं।  ऐसे में प्रवेश करने में देरी होने से प्रवेश और निकासी गेट पर लंबी-लंबी लाइन लग जाती थी। इसके बाद आपरेटर से पहले रिचार्ज करवाना फिर गेट खुलवाने में मुसाफिर और स्टाफ दोनों को समय लगता था। ऐसे में अब वहीं कार्ड आपरेट होंगे जिनमें न्यूनतम बैलेंस 50 रुपए होगा।

एक्वा लाइन मेट्रो नोएडा के सेक्टर 51 से ग्रेटर नोएडा को जोड़ती है। एक्वा लाइन पर कुल 21 स्टेशन हैं। इसमें आखिरी स्टेशन ग्रेटर नोएडा डिपोट स्टेशन है। बता दें कि एनएमआरसी नोएडा और ग्रेटर नोएडा के मेट्रो नेटवर्क की योजना, प्रबंधन और निर्माण की देखरेख करता है।  NMRC की वेबसाइट के मुताबिक, कंपनी नोएडा और ग्रेटर नोएडा के बीच और सेक्टर 142 और बॉटनिकल गार्डन के बीच नई लाइनें बनाकर नोएडा मेट्रो और ग्रेटर नोएडा मेट्रो की पहुंच बढ़ाने की योजना बना रही है।

आपको बता दें अब दिल्ली मेट्रो के नाम एक और नया रिकॉर्ड जुड़ने वाला है। दिल्ली मेट्रो दुनिया के उन पांच मेट्रो में शामिल होने वाली है जो ड्राइवरलेस मेट्रो का संचालन करती है। दिल्ली मेट्रो 160 किमी की दूरी ड्राइवरलेस मेट्रो ट्रेनों के साथ पूरी करती है। 24 दिसंबर 2002 में दिल्ली मेट्रो का परिचालन शुरू हुआ था। इन 20 सालों में डीएमआरसी ने अपने नाम कई रिकॉर्ड बना लिए। इनमें से एक ड्राइवरलेस मेट्रो का है।  फेज 4 के तहत तीन कोरिडोर पर फोकस किया जा रहा है। इनमें दो पिंक और मेजेंटा लाइक का एक्सटेंशन शामिल है। DMRC की 312 मेट्रो कोच ड्राइवरलेस ऑपरेट होती है।

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